Haryana News: पानी भराव से परेशान छात्र, दीवार चढ़कर पहुंच रहे स्कूल

Haryana News: छात्र इन दिनों स्कूल आने के लिए जान जोखिम में डालने को मजबूर हैं, जानें पूरी खबर...
 

Top Haryana: टोहाना शहर के रेलवे रोड स्थित अनाज मंडी में बने राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के छात्र इन दिनों स्कूल आने के लिए जान जोखिम में डालने को मजबूर हैं। बारिश के दिनों में स्कूल के मुख्य गेट के बाहर इतना पानी भर जाता है कि बच्चे उसमें से होकर नहीं निकल सकते।

ऐसे में छात्र मजबूरी में स्कूल की दीवारों पर चढ़कर और पिलरों से फिसलते हुए स्कूल में प्रवेश कर रहे हैं। यह तरीका बेहद खतरनाक है और कभी भी कोई बड़ा हादसा हो सकता है।

हर बारिश में दोहराई जाती है ये स्थिति

लगभग हर बार जब बारिश होती है तो स्कूल के बाहर पानी जमा हो जाता है। करीब 15 दिन पहले भी बारिश के कारण बच्चों को दीवार पर चढ़कर ही स्कूल पहुंचना पड़ा था। इसके बाद भी प्रशासन की ओर से कोई समाधान नहीं निकाला गया। स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों और उनके अभिभावकों की चिंता लगातार बढ़ती जा रही है।

स्कूल कमेटी की मांग को नजरअंदाज कर रहा प्रशासन

स्कूल प्रबंधन समिति के सदस्य राजू ने बताया कि यह समस्या कोई नई नहीं है। हर बारिश से पहले प्रशासन को इसकी जानकारी दी जाती है और समाधान की मांग की जाती है लेकिन अब तक कोई असर नहीं हुआ है। बच्चों की सुरक्षा से जुड़ा मामला होने के बावजूद अधिकारी इस ओर गंभीरता नहीं दिखा रहे।

निकासी चेंबर काम नहीं कर रहे

स्कूल के बाहर पानी निकासी के लिए दो चेंबर बनाए गए हैं लेकिन इनका लेवल सड़क से ऊंचा है। इसी वजह से बारिश का पानी उनमें घुस ही नहीं पाता और बाहर जमा हो जाता है। पानी पूरा दिन भरा रहता है जिससे बच्चे कीचड़ और गंदगी से होकर स्कूल नहीं जा पाते। मजबूर होकर उन्हें दीवार का सहारा लेना पड़ता है।

बच्चों की जान खतरे में जिम्मेदार कौन

छोटे-छोटे बच्चे जब दीवारों पर चढ़कर स्कूल जाते हैं तो अभिभावकों की सांसें अटक जाती हैं। यह स्थिति बताती है कि स्थानीय प्रशासन और नगर परिषद की लापरवाही का खामियाजा मासूम बच्चों को भुगतना पड़ रहा है। एक तरफ सरकार शिक्षा को बढ़ावा देने की बात करती है वहीं दूसरी ओर स्कूल तक पहुंचने का रास्ता भी सुरक्षित नहीं है।

स्थानीय लोगों की अपील

स्थानीय लोगों ने प्रशासन से गुहार लगाई है कि जल्द से जल्द स्कूल के बाहर जलनिकासी की उचित व्यवस्था की जाए ताकि बारिश के दिनों में बच्चों की जान जोखिम में न पड़े। यदि समय रहते समाधान नहीं हुआ तो कोई बड़ा हादसा हो सकता है जिसकी जिम्मेदारी प्रशासन पर ही होगी।