Farmers should do these two things in March to get high prices of mangoes
मार्च में आम के पेड़ों में बौर आ चुके हैं. यही बौर फल बनेंगे. अगर समय पर इनकी देखरेख नहीं की गई तो ये सूखकर झड़ जाएंगे. कृषि एक्सपर्ट ने दो ऐसे तरीके बताए, जिन्हें मार्च में जरूर करना चाहिए.
मार्च महीने की शुरुआत हो चुकी है. आगमन के साथ ही आम के पौधों में मंजर से बौर निकलने लगे हैं. यही बौर आगे चलकर आम का रूप लेंगे.
मंजर से निकले बौर का विशेष कर ध्यान देना जरूरी है. बदलते मौसम और कीट-पतंगों से इन बौरे को काफी नुकसान पहुंचता है. साथ ही बौरे सूख जाते हैं. कई दफे झड़ कर नीचे गिर जाते हैं.
मंजर से निकले बौर का विशेष कर ध्यान देना जरूरी है. बदलते मौसम और कीट-पतंगों से इन बौरे को काफी नुकसान पहुंचता है. साथ ही बौरे सूख जाते हैं. कई दफे झड़ कर नीचे गिर जाते हैं.
बौर सूखने के कारण किसानों को काफी नुकसान का सामना करना पड़ता है. ऐसे में कृषि वैज्ञानिक की सलाह बेहद कारगर हो जाती है
मंजर से लेकर टिकोला बनने तक की अवधि आम की फसल के लिए सबसे जरूरी है. इसमें सबसे अधिक ध्यान देने की जरूरत होती है.
आगे बताया, जैसे-जैसे गर्मी बढ़ेगी, वैसे-वैसे बौर को नुकसान पहुंचने की संभावना बढ़ जाती है. बौर को सुरक्षित रखने के लिए पोटेशियम नाइट्रेट सबसे कारगर दवा है.