Haryana News: हरियाणा में नए जिले बनाने की तैयारी, सरकार को मिली बड़ी राहत

Top Haryana: हरियाणा में नए जिले, तहसील, उप-तहसील और मंडल बनाने की राह अब और आसान हो गई है। भारत के महा रजिस्ट्रार और जनगणना आयुक्त मृत्युंजय कुमार नारायण ने प्रशासनिक सीमाओं में बदलाव के लिए 31 दिसंबर 2025 तक की मंजूरी दे दी है। इस फैसले के बाद राज्य सरकार को नए जिलों के गठन के लिए जरूरी प्रक्रिया पूरी करने का पर्याप्त समय मिल गया है।
जनगणना से पहले ही करने होंगे सभी बदलाव
मुख्य सचिव को भेजे गए पत्र में बताया गया है कि भारत सरकार द्वारा जनगणना 2026 की प्रक्रिया अगले साल फरवरी से शुरू कर दी जाएगी। इसलिए 1 जनवरी 2026 से 31 मार्च 2027 तक प्रशासनिक सीमाओं में कोई बदलाव नहीं हो सकेगा। यानी सरकार को नए जिले या तहसील बनानी है तो उसे यह काम इसी साल 31 दिसंबर से पहले पूरा करना होगा।
नए जिले बनाने पर काम कर रही है कमेटी
हरियाणा सरकार ने इस काम को आगे बढ़ाने के लिए विकास एवं पंचायत मंत्री कृष्ण लाल पंवार की अध्यक्षता में एक कैबिनेट सब-कमेटी बना रखी है। इस कमेटी में राजस्व मंत्री विपुल गोयल, संसदीय कार्य मंत्री महिपाल ढांडा और कृषि मंत्री श्याम सिंह राणा को भी शामिल किया गया है। इस कमेटी का कार्यकाल पहले 4 मार्च तक था फिर इसे 30 जून तक बढ़ाया गया और अब इसे दोबारा 31 दिसंबर तक बढ़ाने की तैयारी चल रही है।
इन जगहों पर बन सकते हैं नए जिले
माना जा रहा है कि सरकार इस साल हिसार के हांसी, सिरसा के डबवाली, करनाल के असंध, जींद के सफीदों और सोनीपत के गोहाना को नए जिले का दर्जा देने की तैयारी में है। हालांकि मानेसर को लेकर भी जिले की मांग उठी है लेकिन इस पर कोई औपचारिक प्रस्ताव अभी तक नहीं आया है।
नए जिले बनाने की शर्तें
कैबिनेट कमेटी के अनुसार, कोई भी नया जिला तभी बन सकता है जब उसमें कम से कम 4 लाख की आबादी और 80 हजार हेक्टेयर जमीन हो। इसके अलावा प्रस्तावित जिले के लिए उपायुक्त की सिफारिश, विधायक का समर्थन, ब्लॉक समिति का प्रस्ताव और नगरपालिका या निगम का सुझाव जरूरी होता है। अगर किसी गांव को नई तहसील या उप-तहसील में शामिल करना हो तो गांव के सरपंच का प्रस्ताव जरूरी है।
जल्दी ही होगा फैसला
कमेटी जिलों से जुड़े दस्तावेज इकट्ठा करके सरकार को भेजती है, जिसके आधार पर आगे का निर्णय लिया जाता है। सरकार की कोशिश है कि यह काम समय रहते निपटा लिया जाए ताकि 2026 की जनगणना से पहले नए जिले पूरी तरह से स्थापित हो सकें।