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Haryana News: किसानों के लिए बड़ी राहत, सैनी सरकार ने बनाई नई योजना, जानें कैसे उठाए इसका फायदा

Haryana News: हरियाणा के मुख्यमंत्री ने किसानों को राहत देते हुए उनके लिए एक नई योजना का ऐलन किया है, आइए जानें पूरी स्कीम के बारें में,,,
 
किसानों के लिए बड़ी राहत, सैनी सरकार ने बनाई नई योजना
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Top Haryana: हरियाणा के किसानों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। सैनी सरकार ने भूमि विवादों को सुलझाने और जमीन के बंटवारे की प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए हरियाणा भूमि राजस्व (संशोधन) अधिनियम लागू किया है। इस नए कानून से संयुक्त परिवारों के बीच जमीन के मालिकाना हक से जुड़े लंबे समय से चले आ रहे विवाद जल्दी सुलझ सकेंगे।

अब बंटवारे के लिए सभी की सहमति जरूरी नहीं

इससे पहले अगर किसी जमीन पर कई लोग मालिक होते थे, जैसे कि भाई-बहन या रिश्तेदार, और उनमें से कोई बंटवारे के लिए तैयार नहीं होता था, तो सरकार उस जमीन को बांट नहीं सकती थी। अब नए कानून के तहत अगर एक भी हिस्सा मालिक आवेदन करता है तो भी उसका हिस्सा बांटा जा सकेगा चाहे बाकी लोग सहमत हों या नहीं।

धारा 111-ए में बदलाव
सरकार ने धारा 111-ए को बढ़ा दिया है और अब यह प्रावधान सभी जमीन मालिकों पर लागू होगा। बस पति-पत्नी को इससे बाहर रखा गया है। इसका मतलब है कि अब रक्त संबंधियों के बीच जमीन के झगड़े जल्दी निपटाए जा सकेंगे।

राजस्व अधिकारी खुद से कर सकेंगे कार्रवाई

इस नए कानून में राजस्व अधिकारियों को यह अधिकार दिया गया है कि अगर उन्हें जानकारी मिलती है कि किसी जमीन का बंटवारा लंबित है, तो वे खुद ही नोटिस जारी कर सकते हैं। इस नोटिस के जरिए सभी हिस्सेदारों को 6 महीने का समय दिया जाएगा कि वे आपसी सहमति से जमीन का बंटवारा कर लें। इससे जमीन के रिकॉर्ड सही रहेंगे और सभी मालिकों को अपने-अपने हिस्से पर अधिकार मिलेगा।

धारा 114 खत्म 

पहले की व्यवस्था में धारा 114 के तहत सभी सह-मालिकों की सहमति जरूरी थी और उन्हें आवेदन में शामिल करना पड़ता था। अब यह धारा हटा दी गई है। जिससे एक व्यक्ति भी आवेदन देकर अपने हिस्से की जमीन का अलग बंटवारा करवा सकेगा।

भूमि विवादों से कोर्ट का बोझ भी होगा कम

सरकार का मानना है कि इस नए कानून से अदालतों में चल रहे भूमि विवादों की संख्या कम होगी और नागरिकों को तेज और स्पष्ट समाधान मिलेगा। हर भूस्वामी को अब अपने हिस्से पर पूरा अधिकार और स्वतंत्र उपयोग का हक मिलेगा। यह बदलाव किसानों और आम लोगों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है। जिससे उन्हें अपनी जमीन को लेकर किसी कानूनी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।