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Today weather: हरियाणा के इन 17 जिलों में होगी भारी बारिश, जानें मौसम का हाल 

Today weather: राज्य के 17 जिलों में मौसम विभाग ने भारी बारिश की चेतावनी दी है, साथ में कई जगह ओलावृष्टि भी हो सकती है, आइए जानें इसके बारें में विस्तार से...
 
हरियाणा के इन 17 जिलों में होगी भारी बारिश
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Top haryana: हरियाणा में आज सुबह से बारिश हो रही है और मौसम विभाग ने ओलावृष्टि की भी संभावना जताई है। इससे किसानों की फसल को नुकसान हो सकता है। मौसम विभाग के अनुसार, पश्चिमी विभोक्ष (Western Disturbance) का असर हरियाणा में दिखाई दे रहा है। कल शाम से ही हरियाणा में बादल घेरने लगे थे और आज सुबह से कई शहरों में बारिश शुरू हो गई है। इस बारिश के कारण तापमान में गिरावट आई है। आज हरियाणा में अधिकतम तापमान 26 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 17 डिग्री सेल्सियस तक रहने की संभावना है।

मौसम विभाग के मुताबिक यह बारिश का दौर 1 मार्च तक जारी रह सकता है। इसके पहले एक पश्चिमी विभोक्ष 25 फरवरी को सक्रिय हुआ था, जो अब खत्म हो चुका है। आज से दूसरा पश्चिमी विभोक्ष सक्रिय हो चुका है, जो कल तक प्रभावी रहेगा। इस मौसम के साथ ही ओलावृष्टि की संभावना भी जताई जा रही है। अगर ऐसा हुआ, तो किसानों को अपनी फसलों के नुकसान का सामना करना पड़ सकता है। इस समय हरियाणा में गेहूं की फसल तैयार हो चुकी है। ओलावृष्टि होने से गेहूं की फसल को बहुत नुकसान हो सकता है, क्योंकि ओलावृष्टि से फसलें बर्बाद हो सकती हैं।

मौसम विभाग ने कहा है कि हरियाणा के 17 जिलों में बारिश हो सकती है। इनमें फतेहाबाद, कैथल, जींद, हिसार, रोहतक, भिवानी, पानीपत, अंबाला, कुरुक्षेत्र, सिरसा और इनके आसपास के जिलों में आज सुबह से ही बारिश शुरू हो चुकी है। इन जिलों में बारिश की संभावना अगले कुछ घंटों तक बनी रहेगी।

इसके साथ ही प्रदूषण का स्तर भी हरियाणा में बढ़ा हुआ है। आज हरियाणा का AQI (एयर क्वालिटी इंडेक्स) 113 दर्ज किया गया है। यह स्तर ज्यादा खतरनाक नहीं है, लेकिन फिर भी यह मध्यम श्रेणी में आता है। ऐसे में लोगों को बाहर निकलते समय सावधानी बरतने की सलाह दी जा रही है। खासकर जिन लोगों को सांस की समस्याएं हैं, उन्हें बाहर जाने से बचना चाहिए।

कृषि विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि अगर ओलावृष्टि होती है, तो इससे गेहूं और अन्य खरीफ फसलों को भारी नुकसान हो सकता है। किसानों को सलाह दी गई है कि वे अपने खेतों की देखभाल करें और जो फसलें तैयार हैं, उन्हें बचाने के उपायों पर विचार करें। इस मौसम का असर न केवल कृषि पर, बल्कि आम जीवन पर भी पड़ सकता है, क्योंकि बारिश के कारण सड़कें गीली और फिसलन हो सकती हैं, जिससे वाहन चलाने में दिक्कत हो सकती है।